NEET में कम मार्क्स? टेंशन छोड़िए! इन 5 हाई इनकम मेडिकल कोर्स से पाएं लाखों की कमाई का मौका

हर साल लाखों छात्र NEET परीक्षा में बैठते हैं ताकि वे MBBS या BDS जैसे प्रतिष्ठित मेडिकल कोर्स में दाखिला पा सकें। लेकिन सीमित सीटें, अत्यधिक प्रतियोगिता और हाई कटऑफ के चलते बहुत से छात्रों को अपेक्षित सफलता नहीं मिल पाती। ऐसे में जब NEET में कम नंबर आते हैं, तो कई छात्र-छात्राएं निराश होकर सोचते हैं कि उनका मेडिकल करियर अब खत्म हो गया। पर सच्चाई यह है कि मेडिकल फील्ड में सफलता केवल MBBS तक सीमित नहीं है। अगर आपके मार्क्स अपेक्षा से कम हैं, तो भी आपके पास ऐसे कई विकल्प हैं जो आपको न सिर्फ एक बेहतरीन करियर देंगे, बल्कि लाखों रुपये तक की कमाई का भी मौका देंगे।

NEET में कम नंबर आने के बावजूद भी छात्र कई हाई इनकम कोर्स के ज़रिए मेडिकल फील्ड में शानदार करियर बना सकते हैं। ऐसा ही एक कोर्स है बैचलर ऑफ फार्मेसी (B.Pharm)। इस कोर्स में दवाओं की संरचना, उनके प्रभाव और निर्माण की प्रक्रिया सिखाई जाती है। फार्मास्युटिकल इंडस्ट्री में इसकी बहुत अधिक मांग है। बी.फार्म करने के बाद छात्र फार्मासिस्ट, मेडिकल सेल्स ऑफिसर, रिसर्च असिस्टेंट या क्वालिटी कंट्रोल ऑफिसर जैसे पदों पर कार्य कर सकते हैं और ₹3 लाख से ₹12 लाख तक की सालाना कमाई कर सकते हैं। अच्छी बात यह है कि कुछ कॉलेज इस कोर्स में बिना NEET स्कोर के भी एडमिशन देते हैं।

दूसरा विकल्प है बीएससी नर्सिंग। यह कोर्स उन छात्रों के लिए है जो स्वास्थ्य सेवा में काम करने की इच्छा रखते हैं। भारत ही नहीं, विदेशों में भी नर्सिंग प्रोफेशन की काफी मांग है। इस कोर्स को पूरा करने के बाद छात्र स्टाफ नर्स, ICU नर्स, OT नर्स, नर्सिंग ऑफिसर जैसे पदों पर काम कर सकते हैं और ₹3 लाख से ₹9 लाख तक की आय कर सकते हैं। खासकर UK, कनाडा और ऑस्ट्रेलिया जैसे देशों में नर्सों की अत्यधिक मांग होने के कारण विदेश में करियर बनाना आसान हो जाता है।

एक और बेहतरीन विकल्प है बैचलर ऑफ फिजियोथेरेपी (BPT)। यह कोर्स मरीजों के मांसपेशियों, हड्डियों या नसों से संबंधित समस्याओं के इलाज पर केंद्रित होता है, जिसमें दवाइयों या सर्जरी की जगह फिजिकल थैरेपी का उपयोग किया जाता है। स्पोर्ट्स फील्ड और न्यूरोलॉजिकल चिकित्सा में इसकी भारी मांग है। BPT कोर्स करने के बाद छात्र स्पोर्ट्स फिजियोथेरेपिस्ट, क्लिनिकल थेरेपिस्ट, रिहैब स्पेशलिस्ट आदि बन सकते हैं और ₹4 लाख से ₹10 लाख तक कमा सकते हैं। खास बात यह है कि NEET स्कोर न होने पर भी कई कॉलेज इस कोर्स में दाखिला देते हैं।

चौथे स्थान पर है बायोटेक्नोलॉजी, जो मेडिकल रिसर्च और नवाचार का क्षेत्र है। वैक्सीन निर्माण, जेनेटिक रिसर्च और फार्मा सेक्टर में इसकी उपयोगिता काफी अधिक है। B.Sc या B.Tech बायोटेक्नोलॉजी कोर्स करने के बाद छात्र रिसर्च साइंटिस्ट, QA/QC स्पेशलिस्ट या क्लिनिकल ट्रायल प्रोफेशनल जैसे पदों पर कार्य कर सकते हैं और ₹5 लाख से ₹15 लाख तक सालाना कमा सकते हैं। भारत और विदेश दोनों जगह इस कोर्स का स्कोप तेजी से बढ़ रहा है।

पांचवां विकल्प है रेडियोलॉजी एंड इमेजिंग टेक्नोलॉजी। आधुनिक चिकित्सा में X-ray, MRI, CT Scan जैसे परीक्षणों की आवश्यकता बढ़ती जा रही है। इन सभी को संचालित करने के लिए प्रशिक्षित रेडियोलॉजिस्ट और इमेजिंग टेक्नीशियन की आवश्यकता होती है। B.Sc इन रेडियोलॉजी कोर्स करने के बाद छात्र MRI टेक्नीशियन, रेडियोलॉजिस्ट असिस्टेंट जैसे पदों पर कार्य करते हैं और ₹4 लाख से ₹12 लाख तक की कमाई कर सकते हैं।

इन सभी विकल्पों से स्पष्ट होता है कि NEET में कम नंबर आना करियर की समाप्ति नहीं, बल्कि एक नया रास्ता तलाशने का अवसर हो सकता है। आज के दौर में स्किल और स्पेशलाइजेशन ज्यादा मायने रखते हैं। अगर सही जानकारी और दिशा मिले, तो छात्र मेडिकल फील्ड में बिना MBBS किए भी शानदार भविष्य बना सकते हैं। सही कोर्स चुनते समय छात्रों को यह जरूर देखना चाहिए कि उनकी रुचि किसमें है, कोर्स की मान्यता क्या है, कॉलेज का प्लेसमेंट रिकॉर्ड कैसा है और भविष्य में उस कोर्स का स्कोप कैसा रहेगा। इसके अलावा बजट और लोकेशन भी ध्यान में रखना चाहिए।

अंत में, यही कहा जा सकता है कि NEET में कम स्कोर होने पर घबराने की जरूरत नहीं है। आज शिक्षा का दायरा इतना व्यापक हो चुका है कि एक रास्ता बंद हो जाए तो कई नए दरवाजे खुल जाते हैं। ऊपर बताए गए कोर्सेस न सिर्फ मेडिकल फील्ड में एक मजबूत करियर बनाने में मदद करते हैं, बल्कि कमाई और सम्मान दोनों दिलाने में सक्षम हैं। इसलिए अब समय है टेंशन छोड़ने का और नए विकल्पों की तरफ कदम बढ़ाने का, क्योंकि हो सकता है कि वही विकल्प आपके जीवन की सबसे बड़ी सफलता बन जाए।

Leave a Comment